Followers

Friday, 1 August 2025

3186 ग़ज़ल बात नहीं पूछ रहा हूंँ


 221 1221 1221 122

क़ाफ़िया आत 

रदीफ़ नहीं पूछ रहा हूंँ

उस दिन हुई क्या बात नहीं पूछ रहा हूंँ।

क्या था हुआ उस रात नहीं पूछ रहा हूंँ।

कुछ तो हुआ था बाद तुझे मिलने पे मुझसे।

फिर भी तेरे जज़्बात नहीं पूछ रहा हूँ।

सच जो भी बता मुझको, वही जानना चाहूँ। 

इस बारे ख्यालात नहीं पूछ रहा हूंँ।

क्या बाद मुलाकात, तेरा मन भी था भीगा।

उस दिन हुई बरसात नहीं पूछ रहा हूँ।

खाई है कभी चोट लगा दिल को किसी से।

किसने किया था घात नहीं पूछ रहा हूँ।

जब इश्क करे कोई कहांँ देखे हैं मज़हब।

मैं भी तो कोई जात नहीं पूछ रहा हूँ।

क्या उसने दिया 'गीत' तुझे, दिल के था बदले।

क्या उसने दी सौगात नहीं पूछ रहा हूँ।

1.27pm 1 Aug 2025