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Tuesday, 16 February 2021

1559 सुहाना हर सफर है

 सुहाना हर सफर है ,

और हसीन साथ है।

गुजरते हुए वादियों में,

 हाथों में तेरा हाथ है।

तनहाई सब मिट गई,

फूलों की बहार है ।

साथ तेरा जब से मिला,

हसीन हर रात है।

साथ यूं ही बना रहे,

यही खुदा से दरख्वास्त है। 

9.46pm 16 Feb 2021Tuesday 

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