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Tuesday, 13 April 2021

1615 Gazal : गज़ल:वो गुजरे पल सताने अब लगे हैं

 क़ाफ़िया आने

रदीफ़ अब लगे हैं 

1222 1222 122

वो क्यों हमको सताने अब लगे हैं ।

बनाने वो बहाने अब लगे हैं ।


जो इक पल दूर रह पाते न हमसे ।

वो हमसे दूर  जाने अब लगे हैं ।


था इतना साथ बस अपना यहां तक ।

नया साथी बनाने अब लगे हैं ।


नहीं है दोस्तों की भी कमी पर ।

वो गुजरे पल सताने अब लगे हैं।


छुपा अश्कों को फिरते दरबदर हम।

कि आँसू सूख जाने अब लगे हैं । 


तू करके अब बहाना पास आ जा ।

के दुनिया छोड़  जाने अब लगे हैं।

4.44m 12April 2021